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श्री हनुमान जी के मंत्र

 श्री हनुमान जी के मंत्र: अर्थ और लाभ

ऐसी मान्यता है कि जो व्यक्ति हनुमान जी का ध्यान करता है और उनके मंत्रों का जाप करता है उन पर बजरंगबली की विशेष कृपा हमेशा बनी रहती है। साथ ही उसके जीवन से समस्त झंझट और परेशानियां भी समाप्त हो जाती हैं।



कहा जाता है कि अगर हर मंगलवार और शनिवार को हनुमान जी के चमत्कारी मंत्रों का जाप किया जाए तो व्यक्ति को कामयाबी हासिल होती है। यहां पढ़ें हनुमान जी के कुछ विशेष मंत्र-


लेख में-

श्री हनुमान मूल मंत्र।

रुद्र हनुमान मंत्र।

हनुमान गायत्री मंत्र।



1. श्री हनुमान मूल मंत्र:

ॐ ऐं ह्रीं हनुमते श्री रामदूताय नमः॥


मंत्र का अर्थ: सभी लोगों के संकटों को करने वाले, मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम के दूत वीर हनुमान को हमारा नमस्कार है। वे हम सभी की रक्षा करें और संकटों से मुक्ति प्रदान करें।


मंत्र का लाभ:

इस मंत्र से मन का भय दूर हो आत्मविश्वास और भक्ति की प्राप्ति होती है।


2. रुद्र हनुमान मंत्र:

ॐ नमो हनुमते रुद्रावताराय सर्वशत्रुसंहारणाय।

सर्वरोग हराय सर्ववशीकरणाय रामदूताय स्वाहा॥


मंत्र का अर्थ:

हे हनुमान आप रूद्र के अवतार हो और रामदूत हो। हमारे सर्व शत्रु का नाश कीजिए, आपकी कृपा दृष्टि से सर्व रोगों का हरण कीजिए। हे राम दूत हम आपसे प्रार्थना करते हैं कि आपकी कृपा से हमारे सभी कार्य में सफलता और कीर्ति प्राप्त हो। हे संकटमोचन देव हम आपको प्रणाम करते हैं।


मंत्र का लाभ:

इस मंत्र के पठन से, मनुष्य को सर्व रोगों से मुक्ति मिलती है तथा सभी शत्रुओं पर विजय की प्राप्ति होती है। हनुमान बुरे वक्त की मार से रक्षा कर, समय को अनुकूल, सुख-समृद्ध भी कर देते हैं।


3. हनुमान गायत्री मंत्र:

ॐ आञ्जनेयाय विद्महे वायुपुत्राय धीमहि।

तन्नो हनुमत् प्रचोदयात्॥


मंत्र का अर्थ:

श्री अंजना और पवन देव के पुत्र, विशेष बुद्धि के धारक श्री वीर हनुमान हम पर आपकी दया दृष्टि बनाए रखें एवं हमें अपनी शरण प्रदान करें।

मंत्र का लाभ:

इस मंत्र के जाप से भय का नाश, मानसिक शांति मिलती है और आत्मविश्वास बढ़ता है।

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